बिहार पुलिस: कहते हैं अगर आपके अंदर कुछ कर गुजरने का जज्बा तो सामने चुनौतियां कितनी भी जा जाए आपको सफलता मिल ही जाती है. यह बात बिहार सिपाही भर्ती परीक्षा में चयनित दिव्य ओझा पर बिलकुल सटीक बैठती है, जिन्होंने कई बाधाओं को पार कर अपनी अलग पहचान बनाई है और बिहार पुलिस महकमे में अपनी सेवा देंगी.
दरअसल बिहार सिपाही भर्ती परीक्षा का फाइनल रिजल्ट जारी कर दिया गया है. इस बार सिपाही भर्ती परीक्षा में 21391 अभ्यर्थियों का चयन किया गया है. इन चयनित अभ्यर्थियों में 8 ट्रांसजेंडर्स ने सफलता प्राप्त कर कांस्टेबल बनने का गौरव हासिल किया है. इन्हीं में से एक हैं बिहार की गोपालगंज की रहने वाली ट्रांस वूमेन दिव्या ओझा. दिव्य ओझा अब बिहार पुलिस महकमे में कांस्टेबल बन गयी हैं.
दरअसल दिव्य ओझा ने कई कठिनाइयों का सामना करते हुए अपने दृढ़ संकल्प और कठोर परिश्रम के बल पर बड़ा मुकाम हासिल किया है. दरअसल करीब 5 साल पहले, दिव्या को उनके परिवार ने समाज के तानों के कारण बहिष्कृत कर दिया था. मजबूरन, दिव्या पटना भाग आई थीं. यहां आकर,
वह पांच दिनों तक पटना जंक्शन पर पॉलिथीन के सहारे लावारिस हालत में रहीं. इसी दौरान, कुछ असामाजिक तत्वों ने दिव्या सुंदरता का नाजायज फायदा उठाने की कोशिश की और उसे बदनाम मंडी तक पहुंचा दिया. हालांकि, दिव्या ने हिम्मत नहीं हारी और वहां से भागने में सफल रहीं.
बदनाम गलियों से लेकर बिहार पुलिस महकमे तक का सफर
हालांकि दिव्या बदनाम गलियों के उन दिनों को याद नहीं करना चाहती हैं. न्यूज़ 18 से बातचीत के दौरान, उन्होंने बताया कि उनकी इस सफलता में परिवार का तो सहयोग था ही. लेकिन, पटना में रेशमा प्रसाद और कोचिंग संचालक गुरु रहमान का विशेष योगदान रहा. गुरु रहमान ने दिव्या को बेटी की तरह परवरिश दी और पढ़ाई में हर संभव सहायता की. उन्होंने दिव्या को पढ़ने के लिए सारी सुविधाएं उपलब्ध कराईं और उन्हें मोटिवेट भी किया, जिसके कारण आज दिव्या बदनाम गलियों से निकलकर बिहार पुलिस में कांस्टेबल बनने में कामयाब रही हैं.
दिव्या ने दिया बड़ा संदेश
दिव्या की यह कहानी प्रेरणा का स्रोत है और यह दिखाती है कि कठिन परिश्रम, समर्पण और हार न मानने की भावना से किसी भी लक्ष्य को प्राप्त किया जा सकता है. दिव्य का कहना है कि वह लगातार कड़ी मेहनत समर्पण और हार ना मानने वाली भावना के साथ जीती रही हैं. इसलिए जब-जब उनको बाधाओं का सामना करना पड़ा उन्होंने अपने आपको मोटिवेट किया और हर चुनौतियों को पार करती गईं. उन्होंने दूसरे लोगों को यह संदेश दिया है कि परेशानियों से घबराएं नहीं बल्कि डटकर मुकाबला करें और अपनी मंजिल की ओर बढ़ते जाएं.