कांग्रेस में बड़े बदलाव : कांग्रेस की सभी कमेटियों को भंग किए जाने के बाद संगठन में बड़े बदलाव की तैयारी शुरू हो गई है। खासकर लोकसभा चुनाव के दौरान निष्क्रिय रहे कई पदाधिकारियों को बाहर का रास्ता दिखाए जाने के साथ ही नए चेहरों को आगे लाया जाएगा। कई पुराने पदाधिकारियों को नई जिम्मेदारी सौंपे जाने की भी तैयारी है। प्रदेश अध्यक्ष अजय राय का कहना है कि दो से ढाई माह में नई कमेटियों का गठन हो जाएगा।
पार्टी की नजर आने वाले विधानसभा चुनाव पर है। इसके लिए बूथ से लेकर प्रदेश स्तर तक बदलाव कर संगठन काे मजबूत किया जाएगा। राय ने सभी निवर्तमान प्रदेश कमेटी के पदाधिकारियों के साथ ही जिला, शहर व ब्लाक अध्यक्षों तथा उनकी कमेटियों के पदाधिकारियों को नई नियुक्तियों तक कार्यवाहक के रूप में अपनी जिम्मेदारी संभालने का निर्देश दिया है।
अविनाश पांडेय ने सभी जिलों में की थीं बैठकें
प्रदेश कांग्रेस में इस बदलाव को पार्टी के भीतर चल रही खींचतान पर विराम लगाए जाने के प्रयास के रूप में भी देखा जा रहा है। लोकसभा चुनाव के दौरान प्रदेश प्रभारी अविनाश पांडेय ने सभी जिलों में बैठकें की थीं। तब जिलों में निष्क्रिय पदाधिकारियों के रिपोर्ट कार्ड भी तैयार किए गए थे। इसके बाद ही संगठन में बदलाव को लेकर चर्चाएं शुरू हो गई थीं।
विशेषकर कई जिला व शहर अध्यक्षों को बदले जाने की बात सामने आई थी। प्रदेश कार्यकारिणी के कुछ पदाधिकारियों की कार्यशैली को लेकर भी भीतरखाने नाराजगी थी। पार्टी सूत्रों का कहना है कि प्रदेश प्रभारी व प्रदेश अध्यक्ष ने संगठन में बदलाव का प्रस्ताव दिया था। इस निर्णय के पीछे राहुल गांधी की बड़ी भूमिका मानी जा रही है। अब प्रदेश में तीन चरणों में नई कमेटियों के गठन की तैयारी है।
प्रदेश अध्यक्ष अजय राय
प्रदेश अध्यक्ष अजय राय ने 17 अगस्त, 2023 को पदभार ग्रहण किया था। इसके बाद 25 नवंबर, 2023 को नई प्रदेश कार्यकारिणी का गठन हुआ था। जिसमें 16 उपाध्यक्षों के अलावा 38 महासचिव व 76 सचिव शामिल थे। जबकि इससे पूर्व वर्ष 2022 में प्रदेश कार्यकारिणी का गठन किया गया था, जिसमें आठ उपाध्यक्ष समेत 127 पदाधिकारी शामिल थे। कई पुराने चेहरे कार्यकारिणी में अपनी जगह बनाए रखने में कामयाब रहे थे।
कांग्रेस ने दिसंबर, 2023 में पार्टी की राष्ट्रीय महासचिव प्रियंका वाड्रा को उत्तर प्रदेश प्रभारी के पद से हटाकर यह जिम्मेदारी वरिष्ठ नेता अविनाश पांडे को सौंपी थी। वर्तमान में 75 जिलाध्यक्ष, 60 शहर अध्यक्ष व 823 ब्लाक अध्यक्ष नियुक्त थे। पार्टी अब पुराने अनुभवों को भूलकर नई कार्यकारिणी के साथ आगे बढेगी। देखना होगा कि पहले हुए प्रयोगों के बाद इस बार प्रदेश, जिला व शहर कमेटी में कितने पुराने चेहरों पर पार्टी भरोसा कायम रखती है और कितने पदों पर नए चेहरों को मौका देती है।