संभल के MLA. यहां हुए उपद्रव में हुई मौत पर सम्भल विधायक इकबाल महमूद ने कहा कि मैं उनके गम में शामिल होने आया हूं. अल्लाह ताला इस बच्चे को जन्नत बक्शे. यह शहीद हुआ है; मस्जिद के नाम पर शहीद हुआ है. पूरे मुस्लिम कौम के लिए शहीद हुआ है. यहां जो कुछ हुआ, वह अच्छा नहीं हुआ. जिसने भी ये सब किया है, वह अच्छा नहीं किया. यह बच्चा कम उम्र का था. मैं सभी 5 जगह गया हूं जहां पर मृतकों के परिवारों से मैंने अपनी संवेदना दी है. उनकी बात को सुना है. हमारा डेलिगेशन आने वाला था लेकिन यहां के डीएम ने पाबंदी लगाई है.
विधायक इकबाल महमूद ने कहा कि हमें 10 तारीख तक रोका गया है. अब 10 दिसंबर के बाद हमारा प्रतिनिधिमंडल आएगा और फिर हर शहीद के घर पर जाकर उनको संवेदनाएं देंगे. यह डेलिगेशन अखिलेश यादव की तरफ से भेजा जा रहा है. उनका बच्चा तो ला नहीं सकते, लेकिन हम उनके परिवार की जो सहायता होगी; वह करेंगे. 24 नवंबर को कोर्ट के आदेश के बाद जामा मस्जिद का सर्वे करने पहुंची टीम के खिलाफ भीड़ ने जमकर पत्थरबाजी और फायरिंग की थी. इसमें चार लोगों की मौत हुई थी. विपक्षी दलों का आरोप है कि पुलिस की गोली से सभी की मौत हुई, लेकिन पुलिस का कहना है कि उसकी तरफ से गोली नहीं चलाई गई.
संभल हिंसा की जांच शुरू, एसपी का दावा 100 उपद्रवियों की पहचान हुई
संभल हिंसा की जांच के लिए हाईकोर्ट के रिटायर्ड जज की अध्यक्षता में तीन सदस्यीय टीम बनाई गई है. जिसमें रिटायर्ड जज देवेंद्र अरोड़ा, रिटायर्ड आईएएस अधिकारी एके जैन और रिटायर्ड आईपीएस अमित मोहन शामिल हैं. संभल के उपद्रवियों के पोस्टर सार्वजनिक स्थानों पर लगाए जाएंगे. साथ ही हिंसा के दौरान प्राइवेट और सार्वजानिक प्रॉपर्टी को नुकसान की वसूली भी की जाएगी. सरकार उपद्रवियों के ऊपर इनाम भी घोषित कर सकती है. अब तक पुलिस ने 21 आरोपियों के पोस्टर जारी किये हैं. पुलिस अधीक्षक के मुताबिक अभी तक 100 उपद्रवियों की शिनाख्त हो चुकी है.