कोलकाता के आरजी कर दुष्कर्म, अस्पताल में गत नौ अगस्त को महिला चिकित्सक के साथ हुई दरिंदगी के मामले में पीड़ित परिवार की तरफ से केस लड़ रहीं वरिष्ठ वकील वृंदा ग्रोवर ने सुप्रीम कोर्ट, कलकत्ता हाई कोर्ट और सियालदाह ट्रायल कोर्ट से अपना नाम वापस ले लिया है। कहा गया है कि कुछ कारणों और परिस्थितियों के चलते उन्होंने ये फैसला लिया।
आरजी कर दुष्कर्म मामले में नया मोड़
सूत्रों ने बताया कि वकील वृंदा ग्रोवर ने ये फैसला इसलिए लिया क्योंकि उनकी लीगल टीम और पीडि़ता के परिवार के बीच कई मुद्दों को लेकर तालमेल नहीं बन रहा था। वृंदा ग्रोवर के चैंबर की ओर से जारी गए एक बयान में कहा गया कि उनकी लीगल टीम सितंबर 2024 से पीडि़ता के परिवार का केस निशुल्क लड़ रही है। ग्रोवर की लीगल टीम में वकील सौतिक बनर्जी और अर्जुन गुप्तू भी शामिल थे, जिन्होंने परिवार का कई अदालतों में प्रतिनिधित्व किया। इस बारे में पीड़िता के पिता का कहना है कि उन्हें इस बारे में कोई जानकारी नहीं है।