गोपालगंज: शराबबंदी वाले बिहार में भ्रष्ट पुलिस अधिकारियों की एक और करतूत सामने आई है। इस बार गोपालगंज एसपी ने तत्काल कार्रवाई करते हुए ऐसे भ्रष्ट पुलिस अधिकारियों को न सिर्फ सस्पेंड किया। बल्कि उनके खिलाफ विभागीय कार्रवाई भी शुरू करने का आदेश दे दिया है। अब बड़ा सवाल है कि ऐसे भ्रष्ट अधिकारियों को सूचना मिलने के बाद भी पूर्व के तत्कालीन एसपी के द्वारा क्यों बचाव किया जा रहा था?
और थानेदार ने बेच दिया गांजा
बता दें कि गोपालगंज के यादोपुर थाना अध्यक्ष पिंटू कुमार के द्वारा 270 किलोग्राम गांजा जब्त किया गया था। इस गांजा की बरामदगी यादोपुर थाना क्षेत्र के मंगलपुर में किया गया था। पुलिस अधीक्षक गोपालगंज की ओर से जारी किया गया जिलादेश पत्र के मुताबिक थानाध्यक्ष पिंटू कुमार ने महज 70 किलो 900 ग्राम ही गांजा की बरामदगी दिखाई गई।
बाकी गांजा को पैसे लेकर दूसरे को बेच दिया गया। वह गांजा औरंगाबाद पुलिस ने जब्त कर लिया। जब्ती के दौरान तस्कर रितेश सिंह, गांव बलुआ टोला ने पुलिस को बताया था कि वह 270 किलोग्राम गांजा यादोपुर थानाध्यक्ष के सहयोग से खरीदा था। इसी मामले में गोपालगंज एसपी अवधेश दीक्षित ने तत्काल कार्रवाई करते हुए उनके खिलाफ विभागीय जांच शुरू करने का आदेश दिया।
इसके साथ ही उन्हें यादोपुर थानाध्यक्ष के पद से सस्पेंड कर दिया गया। अब उनको गोपालगंज पुलिस केंद्र में लाइन हाजिर किया गया है। इसके अलावा कुख्यात शराब माफिया मुकेश यादव का भी कुचायकोट थानाध्यक्ष सुनील कुमार और विशंभरपुर थानाध्यक्ष मनोज कुमार के साथ भी सांठगांठ का भी आरोप है।
तस्करों को संरक्षण देते थे थानेदार
गोपालगंज एसपी अवधेश दीक्षित के मुताबिक मनोज कुमार सिंह और कुचायकोट थानाध्यक्ष सुनील कुमार के द्वारा शराब तस्कर मुकेश कुमार यादव से पैसे लेकर संरक्षण दिए जाते थे। शराब तस्कर से मोटे पैसे के बदले में उसे शराब की तस्करी करने की इजाजत दी जाती थी। एसपी ने जांच के बाद यह कड़ी कार्रवाई की है। अब कुचायकोट थानाध्यक्ष सुनील कुमार और विशंभरपुर थानाध्यक्ष मनोज कुमार को भी तत्काल प्रभाव से सस्पेंड कर दिया गया है। और उनके खिलाफ भी विभागीय जांच शुरू कर दी गई है।
शराब से भरे ट्रक ही बेच दिया
बता दें कि इसके पूर्व भी कुचायकोट थानाध्यक्ष रितेश कुमार सिंह के द्वारा बरामद किए गए शराब से भरे ट्रक को शराब तस्करों की बेचा जा रहा था। जिसका वीडियो वायरल हुआ था। इस मामले में उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की गई थी। वहीं, कुचायकोट थानाध्यक्ष सुनील कुमार का कुछ महीने पूर्व ही शराब तस्करों के साथ एक फोटो भी वायरल हुआ था। जिसको लेकर पटना पुलिस मुख्यालय ने गोपालगंज के तत्कालीन एसपी स्वर्ण प्रभात को जांच के आदेश दिए थे। तत्कालीन एसपी के द्वारा इस मामले में कोई ठोस कार्रवाई नहीं की गई थी।